गर्भवती महिला हावड़ा एक्सप्रेस में सफर कर रही थी . अचानक उसे प्रसव पीड़ा होने लगी . कोहरे की वजह से ट्रेन काफी धीमे चल रही थी और नजदीकी स्टेशन काफी दूर था. ऐसे में एक बार फिर से भारतीय सेना रक्षा करने के लिए सामने आई और फिर शुरू हुआ चलती ट्रेन में ऑपेरशन डिलीवरी. जरा सी देर हो जाती तो जच्चा और बच्चा दोनों की जान को खतरा हो सकता था.
चलती ट्रेन में मिशन डिलीवरी को सफलता से अंजाम देने वाली भारतीय सेना के दोनों डॉक्टरों की चारों तरफ चर्चा हो रही है.
पटरियों पर दौड़ती हावड़ा एक्सप्रेस में महिला को प्रसव पीड़ा होने की जानकारी जैसे ही उसी डिब्बे में सफर रहीं सेना के 172वें मिलिटरी हॉस्पिटल की दो डॉक्टरों कैप्टन ललिता और कैप्टन अमनदीप को मिली. उन्होंने तुरंत आनन-फानन में प्रसव की तैयारी की और रेल के डिब्बे में ही महिला का प्रसव कराया.
मिशन डिलीवरी की कामयाबी पर सेना का ट्वीट
मिशन डिलीवरी की कामयाबी की जानकारी देते हुए सेना के अतिरिक्त महानिदेशक ने सेना के ट्विटर हैंडल से दोनों महिला डॉक्टरों और नवजात शिशु की फोटो ट्वीट करते हुए लिखा, ‘मां और बच्चा दोनों स्वस्थ हैं।’
नवजात शिशु की मां ने सेना के दोनों डॉक्टरों को दिल से धन्यवाद दिया.