नहीं रहे अरुण जेटली . कुछ दिनों से AIIMS में भर्ती पूर्व केन्द्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली का आज निधन हो गया है . लंबे समय से बीमार चल रहे जेटली को 9 अगस्त को एम्स में भर्ती कराया गया था और आज यानी कि 24 अगस्त को दोपहर 12 बजकर 7 मिनट पर जेटली ने आखिरी सांस ली .
66 वर्षीय जेटली को सांस लेने में दिक्कत और बेचैनी की शिकायत के बाद नौ अगस्त को एम्स लाया गया था. खराब स्वास्थ्य के चलते ही जेटली ने 2019 का लोकसभा चुनाव नहीं लड़ा था और न ही मोदी सरकार 2.0 में मंत्रीपद संभाला था.
बीजेपी के हमेशा संकटमोचक माने जाने वाले जेटली को 2014 में भाजपा की सरकार आने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वित्त मंत्री बनाया था . कुछ समय तक उन्होंने रक्षा और सूचना और प्रसारण मंत्रालय भी संभाला . अरुण जेटली अटल बिहारी वाजपेयी कैबिनेट में साल 2000 में कैबिनेट मंत्री बने थे. इसके बाद वह राज्यसभा में साल 2009 में नेता विपक्ष भी बने.
पिछले वर्ष 14 मई को उनके गुर्दे का प्रतिरोपण हुआ था. उस समय रेलवे मंत्री पीयूष गोयल ने उनके वित्त मंत्रालय का कार्यभार संभाला था . बीमारी को मात देकर 23 अगस्त 2018 को उन्होंने दोबारा वित्त मंत्रालय का कार्यभार संभाला था . मधुमेह की बीमारी के चलते वजन बढ़ने के कारण सितम्बर 2014 में उनकी ‘बेरिएट्रिक सर्जरी’ भी हुई थी .